SKELETAL SYSTEM in hindi (कंकाल तंत्र)

SKELETAL SYSTEM in hindi 

किसी भी जीव के शरीर को एक निश्चित आकर और आकृति प्रदान करने के लिए एक  निश्चित ढांचे की आवश्यकता होती है जो की अस्थियों  और उपस्थियों से मिलकर बना होता है इस ढांचे को  ही skeleton system कंकाल तंत्र कहते है |

 SKELETAL SYSTEM

SKELETAL SYSTEM in hindi

जीवों में दो प्रकार के कंकाल होते हैं:

(a) बहि: कंकाल (Exo skeleton)

(b) अंत: कंकाल (Endo skeleton)

(a) बहि: कंकाल (Exo skeleton):- यह अधिचर्म से बनता  है।

 उदाहरण बाल, नाखून, कूबड़ व सींग और पंख आदि । 

यह Ectodermal origin का व निर्जीव कोशिकाओ का बना होता है।

Mesodermal बहि: कंकाल मछली के Scales, मगरमच्छ व कछुए में मिलता है।

(b) अंत: कंकाल (Endoskeleton) :- यह शरीर के अंदर होता है। 

यह Mesodermal origin का व जीवित कोशिकाओं से बना होता है।

Vertebrate जीवों में अंतः कंकाल अस्थि व उपास्थि से बनाता है।

मानव कंकाल (Human skeleton)

मानव अंत: कंकाल दो खण्डों में विभाजित होता है :

(A) अक्षीय कंकाल (Axial skeleton)

(B) अनुबंधीय कंकाल (Appendicular skeleton) 


(A) अक्षीय कंकाल (Axial skeleton)

यह शरीर की longitudinal धुरी से समानान्तर स्थित अस्थियों से बनता है। 

उदाहरण:(1) खोपड़ी (skull) 

(2) कशेरूकी (vertebral column)

(3) पसलियाँ व Sternum,

 मानव में  axial skeleton में 80 अस्थियाँ होती है।

(B) अनुबंधीय कंकाल (Appendicular Skeleton) : इसमें हाथ व पैरों की अस्थियों सम्मिलित होती है।

 मानव में appendicular skeleton 126 अस्थियाँ होती है।


मानव में भ्रूणावस्था में 306 अस्थियाँ जन्म के समय 270 व वयस्क में 206 अस्थियाँ होती है।



The humer ( प्रंगडीका) :-

शीर्ष (Head):

 गेंदाकार, यह Scapula की Glenoid गुहा में गति करके //ik Shoulder Joint (Ball & Socket joint) बनाता है।

इस अस्थि के ऊपरी सिरे पर Greater व Lesser Tubercle नामक उभार होते हैं व मध्य में Deltoid ridge (V-shaped) नामक खुरदरी सतह होती है। इन सभी स्थानों पर माँसपेशियाँ आकर जुड़ती है। 

Caranoid fossa Trochlea के ऊपर स्थित गढढा जिसमें कोहनी के मुड़ने पर Ulna का Coranoid Process घुस जाता है। 2

 Olecranon fossa: जब कोहनी सीधी करते हैं तो Ulna का कफोणि प्रवर्ध या (Olecranon process) इसमें घुसकर, कोहनी को उल्टा मुड़ने से रोक देता है


बहिः प्रकोष्ठिका व अंत: प्रकोष्ठिका (THE RADIUS & ULNA)


शीर्ष (Head) :

Disc के आकार का होता है। इसकी ऊपरी Concave सतह में Humerus का Capitulum तथा Convex परिधि के साथ Ulna का radial notch गति करता है व radioulnar joint बनाता है।

निचली सतह (Inferior surface) : यह Scaphoid a lunate अस्थि से गति करती है। 

Olecranon प्रवर्ध: यह अन्तः प्रकोष्ठिका के ऊपर की ओर निकला होता है व कोहनी की सन्धि को कब्जा सन्धि बनाता है।

मणिबन्ध (CARPAL BONES) - 8  

Proximal RI: (lateral से Medial)- Scaphoid, Lunate. Triquetrum, Pisiform
Distal पंक्ति: Trapezium, Trapezold, Capitate, Hamate.
 

करभिकाएँ (Metacarpal Bones) - 5

पाँच छोटी अस्थियाँ जिन्हें Lateral से Medial गिना जाता है।

Phalanges. 


  • प्रत्येक पंजे में 14 phalanges होती है
  •  प्रत्येक ऊँगली में  तीन और अंगूठे में दो 







उर्विका (FEMUR)

शीर्ष (Head) : गेंदाकार, Medialy दिशा में - श्रोणि उलूखल (acetabulum) के साथ गति करके hip joint (Ball

& Socket joint) बनाता है।

Greater और Lesser trochanter : अस्थि के ऊपरी हिस्सों में स्थित उभार जिन पर माँसपेशियाँ जुड़ती है।

Medial और Lateral Condyle: अस्थि के निचले सिरे पर दो

गुम्बदाकार गतिमान सतहे जो कि Tibia से गति करती है। Femur मानव शरीर की सबसे बड़ी, मजबूत व भारी अस्थि है।

अंतर्जंघिका (TIBIA)

इसका ऊपरी सिरा फैल कर दो Condyles (Medial और Lateral) बनाता है जो कि Femur के साथ गति करती है। (Knee Joint) |

 (i) median condyle की ऊपरी सतह femur के median condyle से जुड़ती है।

(i) lateral condyle की ऊपरी सतह femur के lateral condyle से जुड़ती है।


बर्हिर्जंघिका (FIBULA)

Tibia के Lateral में स्थित पतली अस्थि, यह घुटने की संधि में भाग नहीं लेती। इसका ऊपरी सिरा Tibia से ही गति करता है तथा proximal tiblofibular joint बनाता है।


गुल्फास्थियाँ (TARSUS)

सात Tarsal अस्थियाँ पैर में दो पंक्तियों में रखी होती हैं।

Proximal row: Talus, Navicular 37 Calcaneum गुल्फास्थियाँ मणिबन्धों की तुलना में अधिक बड़ी व भारी होती है क्योंकि उन्हें भार वहन करना पड़ता है।

 Distal row :- चार tarsal bones (3 cuneiform और एक cuboid)

Calcaneum सबसे बड़ी tarsal अस्थि है, एड़ी बनाती है 2 तथा खड़े रहने की अवस्था में पश्च स्थिति में शरीर के वजन को संचरित करती है।


प्रपदिकाएँ (Metatarsal)

पाँच Metatarsal अस्थियाँ जिन्हें Medial से Lateral गिना जाता है।

अंगुलास्थि (Phalanges)

 पैर में 14 Phalanges होती हैं। अंगूठे में 2 व अन्य उंगलियों में प्रत्येक में 3 

अंसफलक (SCAPULA) 

अंस मेखला (Pectoral girdle) प्रत्येक अंस मेखला मे दो अस्थियाँ होती है। Scapula + Clavicle 

प्रत्येक scapula में 3 प्रवर्ध (process) पाये जाते हैं जहाँ पेशिया आकर जुड़ती है।

अंसफलक (Spinous) प्रवर्ध

-अंसकूट (Acromion) प्रवर्ध 

-- अंसतुंड (Coracold) प्रवर्ध

स्केप्यूला की Glenoid cavity को अंसउलूखल भी कहते हैं। यह प्राडिका के शीर्ष के साथ गति करती है।



Clavicle (collar bone)

Medial सिरा : Manubrium के Clavicular notch से गति करता है।

Lateral सिरा : यह Scapula के Acromion process से गति करता है


STERNUM 15 CM LONG

15 cm लम्बी चपटी अस्थि जिसके तीन हिस्से होते है | Manubrium, body at aufera (Xiphoid process)

स्टर्नम की Lateral border पर (Ribs) पसलियों के Costal Cartilages आकर जुड़ते हैं। Xiphoid process के द्वारा यह डायफ्रॉम अग्र उदरीय दीवार की पेशियों से जुड़ी होती है।

पर्शुकी उपास्थि 

यह पसलियों के अनस्थिकृत unossified अग्र हिस्से होते  है।जिससे कि पसली sternum से जुड़ती है।
इसके कारन् छाती के पिंजरे मे लचक आती है ।पहली सात पसलियो के Costal cartilagesके  Medial सिरे   sternum से सीधे जूडे होते है|
8th, 9th, 10 

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